एहसास जब कांटे बन जाएँऔर ख्यालों से भी चुभन होने लगे..ऐ रब!कोई तो राह होगी जो बंजर में भी प्यार के बीज बो दे..तुम बस हिम्मत दे देना..मै सींच लूंगी आँखों के कतरे से भी अपना जन्नत!!!!kya kehoon.....umda!
एहसास जब कांटे बन जाएँ
ReplyDeleteऔर ख्यालों से भी चुभन होने लगे..
ऐ रब!
कोई तो राह होगी जो बंजर में भी प्यार के बीज बो दे..
तुम बस हिम्मत दे देना..
मै सींच लूंगी आँखों के कतरे से भी अपना जन्नत!!!!
kya kehoon.....umda!